वैश्विक महामारी के दौर में निर्धारित नियमों की पालना करते हुए आगामी एक अक्टूबर से जिले में बाजरा खरीद प्रक्रिया शुरू हो रही है। जिला में किसानों की सुविधा के लिए कुल 7 खरीद केंद्र बनाए गए हैं। हर खरीद केंद्र पर संबंधित एसडीएम सहित एचसीएस अधिकारी बतौर नोडल अधिकारी नियुक्त रहेंगे। यह जानकारी डीसी जितेंद्र कुमार ने दी। वे बुधवार को लघु सचिवालय सभागार में बाजरा खरीद प्रक्रिया के लिए की जा रही व्यवस्थाओं की समीक्षात्मक बैठक ले रहे थे।
डीसी ने खरीद एजेंसी सहित नोडल एजेंसी अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। गौरतलब है कि 2150 रुपए प्रति क्विंटल की दर से बाजरे की खरीद की जाएगी। बाजरे का यह प्रति क्विंटल रेट अब तक का सबसे अधिकतम मूल्य है। बाजरे की फसल को लेकर किसानों में अधिक उत्साह नहीं होता था। लेकिन पिछले कुछ वर्षों से प्रदेश सरकार की ओर से जिस प्रकार से बाजरे का भाव काफी बढ़ा दिया है उससे किसानों में काफी उत्साह है। भाव अधिक होने के कारण प्रशासन की ओर से खरीद प्रक्रिया को पूरी तरीके से पारदर्शी बनाया गया है।
ताकि इसमें दूसरे मुनाफाखोरी फायदा न उठा सके। फसलों की ई-गिरदावरी तथा हरसेक से हुई सैटेलाइट गिरदावरी की रिपोर्ट के तहत वेरिफिकेशन करवाया गया है और इस बार उक्त वेरिफिकेशन रिपोर्ट के आधार पर ही खरीद केंद्रों पर फसलों की खरीद की जाएगी। डीसी जितेंद्र कुमार ने खरीद एजेंसी हैफेड व हरियाणा वेयर हाऊस कारपोरेशन के अधिकारियों को नियमित लिफ्टिंग सुनिश्चित करने के आदेश दिए।उन्होंने जिला के चारों एसडीएम को लिफ्टिंग उपरांत फिजीकल वेरिफिकेशन साप्ताहिक रूप से करने के आदेश भी दिए। इस अवसर पर एसडीएम झज्जर शिखा, एसडीएम बादली विशाल कुमार, एसडीएम बहादुरगढ़ हितेंद्र शर्मा, डीएफएससी मनीषा मेहरा सहित अन्य संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।